एक चाहत थी मेरी हर डर को जीत लेने की आज तुझे खोने के डर से भागने को जी चाहता है। एक चाहत थी मेरी हर डर को जीत लेने की आज तुझे खोने के डर से भागने को ...
स्मृतियों के झरोखों से, जब यादों का सैलाब आता है, खो सी जाती हूँ, मैं सुनहरी यादों मे स्मृतियों के झरोखों से, जब यादों का सैलाब आता है, खो सी जाती हूँ, मैं सुनह...
सर्द मौसम में तेरी यादों का अलाव जलाकर, नीले पड़ते ख़वाबो को गरमाहट देती हूँ। सर्द मौसम में तेरी यादों का अलाव जलाकर, नीले पड़ते ख़वाबो को ...
पुरानी हैं ,पर सुन्दर हैं जब भी खोलती हूँ ये यादों का पिटारा बह जाती हूँ नदिया की पुरानी हैं ,पर सुन्दर हैं जब भी खोलती हूँ ये यादों का पिटारा बह जाती ...
गुल खिले, गुलशन जगे, खुशबू बना मौसम सृष्टि का कण-कण हुआ, रंगों भरा मौसम क्यारियाँ गुल खिले, गुलशन जगे, खुशबू बना मौसम सृष्टि का कण-कण हुआ, रंगों भरा मौसम ...
आपकी फ़ुर्कत में ये आलम रहा पतझड़ों जैसा हरिक मौसम रहा आपकी फ़ुर्कत में ये आलम रहा पतझड़ों जैसा हरिक मौसम रहा